नई दिल्ली
केंद्र सरकार ने बुधवार को लोकसभा स्पष्ट कर दिया है कि आधार और सोशल मीडिया प्रोफाइल को जोड़ने का कोई प्रस्ताव नहीं है। इससे पहले बीते अक्टूबर में सुप्रीम कोर्ट ने सोशल मीडिया अकाउंट को आधार कार्ड से लिंक करने की याचिका को खारिज कर दिया था।
दरअसल, सोशल मीडिया से आधार को लिंक करने का मामला लंबे समय से चर्चा में है। इसके पीछे दावा किया जाता रहा है कि इससे फेक न्यूज और पेड न्यूज पर लगाम लगेगी। लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने पहले ही इस संबंध में पड़ी एक याचिका को खारिज कर दिया था।
भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) नेता और वकील अश्विनी कुमार उपाध्याय की ओर से दाखिल याचिका में कहा गया था कि आधार से सोशल मीडिया अकाउंट्स जोड़े जाने से डुप्लीकेट, फेक और घोस्ट अकाउंट पर लगाम कसा जा सकेगा।
इससे पहले फेसबुक, ट्विटर समेत सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म को आधार से लिंक मामले को लेकर हुई सुनवाई में कोर्ट ने कहा था कि हमने सुना है कि सरकार सोशल मीडिया लिंकिंग को लेकर गाइडलाइन लेकर आ रही है। यह बहुत जरूरी है, लेकिन निजता का भी ख्याल रखा जाना चाहिए। इंटरनेट वाइल्ड वेस्ट की तरह है।
जस्टिस दीपक गुप्ता और जस्टिस अनिरुद्ध बोस की पीठ ने मामले की सुनवाई की थी। जस्टिस गुप्ता ने कहा था कि कोर्ट के साथ सरकार और आईटी डिपार्टमेंट भी इसे देखे और समस्या का हल तलाशे।
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