जयपुर (धीरज गर्ग )
कोरोनावायरस का कहर और प्रदेश में एन-95 मास्क तक नहीं मिल रहे हैं। प्रदेश में रोजाना 75 हजार से एक लाख मास्क इस्तेमाल होते हैं। मगर कोरोना के चलते डिमांड डेढ़ से दो लाख हो गई है और कंपनियां सप्लाई नहीं कर पा रही हैं। ऐसे में जयपुर में रोजाना 10 हजार की बजाय 4 हजार मास्क ही उपलब्ध हैं। दिल्ली, मुम्बई, अहमदाबाद, केरल, इंदौर, भोपाल समेत कई बड़े शहरों में मास्क की किल्लत हो गई है। हालांकि, सरकारी अस्पतालों में मास्क सप्लाई करने वाले आरएमएससी के अधिकारियों का दावा है कि हमारे यहां मास्क की कमी नहीं है।
स्कूली बच्चों के मास्क लगाने से बढ़ी मांग :
अब स्कूलों में भी बच्चों के मास्क लगाने से मांग लगातार बढ़ती जा रही है। राजस्थान से महाराष्ट्र, गुजरात, केरल, मध्यप्रदेश, अहमदाबाद, सूरत जैसे शहरों में रहने वाले परिवारों को भी भेजे जा रहे हैं। पहले इन मास्क का इस्तेमाल ज्यादातर अस्पतालों में ऑपरेशन थिएटर में ही किया जा रहा था।
अचानक डिमांड बढ़ने से नहीं कर पा रहीं सप्लाई :
राज्य में मास्क की सप्लाई करने वाली पांच कंपनियों के प्रतिनिधियों से बातचीत करने पर पता चला कि पहले कंपनियों को गिने-चुने ऑर्डर मिलते थे। अब डेढ़ से दो लाख की मांग बढ़ी है। ऑर्डर इतना ज्यादा है कि उसके अनुरूप आपूर्ति नहीं हो पा रही। जयपुर, अजमेर, जोधपुर, टोंक और उदयपुर में ऐसे हालात हैं कि कुछ ही देर में आउट ऑफ स्टॉक हो जाता है।
तीन लेयर वाला एन-95 होता है सबसे सुरक्षित :
- सिंगल लेयर : यह कॉटन से बना साधारण मास्क है। बाजार में 7 से 10 रुपए में बिकने वाला अब दोगुना महंगा।
- ट्रिपल लेयर : 15 रुपए की कीमत वाले तीन लेयर वाला ये मास्क 25 से 40 रुपए में मिल रहा है।
- एन-95 : सबसे सुरक्षित व सर्वाधिक इस्तेमाल होता है। इसमें फिल्टर क्लिप लगा होने से बैक्टीरिया या वायरस अंदर प्रवेश नहीं कर सकता।
- दूसरे राज्य भी मंगा रहे मास्क :
- आरएमएससी प्रबंध निदेशक गवांडे प्रदीप केशव राव ने कहा कि सरकारी अस्पतालों के लिए सप्लाई किए जाने वाले मास्क की उपलब्धता अगले सात माह तक होने से दिक्कत नहीं है।
- राजस्थान केमिस्ट एसोशिएसन के अध्यक्ष आर बी पुरी नेक कहा कि कोरोनावायरस के चलते डिमांड बढ़ गई है। ऐसी मांग तो स्वाइन फ्लू के प्रकोप के समय भी नहीं थी। प्रदेश में पहली बार मास्क की ऐसी किल्लत दिख रही है। महाराष्ट्र, केरल, गुजरात और मध्यप्रदेश जैसे राज्य भी मास्क भेजने को कह रहे हैं।